“सत्य” होता क्या है ?

नमस्कार दोस्तों ! आज हम लोग जानने वाले है कि सत्य आखिरकार होता क्या है ? क्या हमें सत्य बोलना चाहिए या नहीं बोलना चाहिए ! दोस्तों इस टॉपिक पर, हम लोग बहुत ही आसान भाषा में step-by-step बात करने वाले हैं और समझने वाले हैं ! आखिरकार सत्य होता क्या है ? अगर आपको कोई भी शब्द या टॉपिक समझ में ना आए तो, आप हमारे Contact Us पेज के माध्यम से आप हमसे संपर्क कर सकते हैं ! दोस्तों इस टॉपिक से आपने क्या समझा ? इसका Feedback कमेंट सेक्शन में जरूर बताएं ! जिससे मैं जान पाऊ, कि मेरे प्यारे भारतीय लोगों को क्या समझ में आया, और कैसा लगा ? तो चलिए दोस्तों आगे बढ़ते हैं ।

सामान्य बात :-

इस टॉपिक में सबसे पहले हम लोग यह जानने वाले है कि तथ्य होता क्या है ? क्योंकि सबसे पहले तथ्य को जानना बहुत जरूरी है । दोस्तों अगर बात की जाए, तो सब लोगों की जिंदगी में एक ऐसा विषय जरूर आता है, कि उन्हें सत्य कहने का फैसला होता है दिल में । लेकिन मजे की बात तो यह है, कि उनके मुंह से सत्य निकल ही नहीं पाता है !

महत्वपूर्ण बात :-

दोस्तों ! महत्वपूर्ण बात तो यह है कि, आखिर मुंह से सत्य क्यों नहीं निकल पाता है ? क्योंकि उनके मन को, कोई डर घेर लेता है इसलिए उनके मुंह से सत्य नहीं निकल पाता है ।

सामान्य बात :-

दोस्तों ! आपने कभी देखा होगा कि, कोई इंसान किसी घटना या विषय के बारे में बातें करना, या फिर, खुद से कुछ भूल हो जाए उसके बारे में कुछ बोलना ! क्या दोस्तों इसी को हम लोग सत्य कहते हैं क्या ? नहीं दोस्तों ! यह तो केवल तथ्य है, सत्य नहीं !

महत्वपूर्ण बात :-

दोस्तों ! ऊपर की बातों से तो आपको समझ में आ ही गए होंगे कि तथ्य होता क्या है ? तो चलिए दोस्तों एक और महत्वपूर्ण बात जान लेते हैं ! किसी इंसान के साथ, कोई इंसान को लड़ाई हो जाता है, तो क्या वो इंसान अपने घर पर बोल पाता है ! जैसा हुआ था वो इंसान के साथ ! वैसा केवल बोल देना, यह तो सामान्य सी बात है ! लेकिन कभी-कभी उस तथ्य को बोलते हुए भी, डर लगता है ! और उसके मन में दूसरे की भावनाओं का विचार आता है, कि दूसरे को दुख होगा । यह डर भी उसे रोकता है ! तो आखिरकार दोस्तों, सत्य है क्या ? क्या है ? क्या है ? क्या है ? क्या है ? क्या हम लोग कभी जानने की कोशिश किए हैं ! नहीं ना ! तो चलिए जानते हैं ।

सामान्य बात :-

दोस्तों क्या हम लोग कभी ये विचार किए हैं ! जब डर रहते हुए भी, कोई इंसान तथ्य बोलता है तो वह सत्य कहलाता है दोस्तों ! यही सत्य है यही सत्य है और यही सत्य है । अब समझ में आई दोस्तों, कि सत्य होता क्या है ?

महत्वपूर्ण बात :-

दोस्तों ! सत्य क्या है वो तो समझ में आ गया ! लेकिन दोस्तों ! वास्तव में सत्य कुछ और नहीं होता है ! वह तो केवल, निडरता का दूसरा नाम है ! और निडर होने का कोई समय नहीं होता दोस्तों ! क्योंकि निडरता आत्मा का स्वभाव है ।

सामान्य बात :-

दोस्तों ! क्या हर समय, एक सत्य बोलने का समय नहीं होता ! इसके बारे में, एक बार आप जरूर सोचिए और उस पर विचार करके अपनी जिंदगी में यह नियम जरूर इस्तेमाल कीजिए । उम्मीद करता हूं दोस्तों, कि आपको सारी बातें समझ में आए होंगे और आप एक सही रास्ते पर चलेंगे ! ऐसा मैं मान कर चलता हूं । धन्यवाद दोस्तों, जय हिंद !

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